आचार्य, गुरु, पंडित, पुरोहित और पुजारी में अंतर ?
अक्सर लोग पुजारी को पंडितजी या पुरोहित को आचार्य कह देते हैं, जो कभी-कभी उनके वास्तविक रूप के अर्थ से भिन्न हो सकते हैं। निम्नलिखित शब्दों का सही अर्थ इस प्रकार है:
Read Moreमातृ दिवस (Mother’s Day) मनाने की परंपरा कब से शुरू हुई ?
मातृ दिवस (Mother’s Day) का इतिहास विश्वभर में विभिन्न संस्कृतियों और देशों में पाया जाता है, और यह अपने मातृ तत्व की प्रशंसा और मातृभूमि की महत्त्वाकांक्षा के लिए मनाया जाता है।
Read Moreहोली क्यों मनाते है – WHY CELEBRATE HOLI?
होली यह अग्नि देवता की उपासना का एक अंग है । अग्नि देवता की उपासना से व्यक्ति में तेज तत्त्व की मात्रा बढने में सहायता मिलती है । होली के दिन अग्नि देवता का तत्त्व २ प्रतिशत कार्यरत रहता है ।
Read Moreरूद्राक्ष पहनने वाले अवश्य पढें। – RUDRAKSHA WEARERS MUST READ.
रूद्राक्ष धारण करने वालों को मद्य – मांस -लहसुन – प्याज – शिग्रु ( कुकुरमुत्ता जैसे पदार्थ ) – लिसोडा – विड्वराह – आदि अभक्ष्य पदार्थों को छोड देना चाहिए
Read Moreतीर्थराज प्रयाग में मां गंगा और कल्पवास – MA GANGA & KALPWAS
पंक्ति पावन परिवार कल्पवास एक संकल्प की यात्रा है। इस यात्रा मे त्याग , तप, जप, स्नान, दान और भक्त समागम का पुनीत अवसर मिलता है।
Read Moreहनुमानजी की उड़ने की गति ?- Flying speed of Hanuman Ji?
जानिए हनुमानजी की उड़ने की गति कितनी रही होगी उसका अंदाजा आप लगा सकते हैं
Read Moreसमुद्र मंथन कहाँ हुआ था? | SAMUNDRA MANTHAN KAHA HUA THA ?
यदि स्थूल दृष्टि से देखें तो शायद अरब सागर में कहीं। लेकिन ऐसा नहीं है। किसी भी घटना के सही स्थान का पता करने हेतु उस समय की भौगौलिक स्थिति का पता होना भी जरूरी है।
Read Moreश्रावण मास में सोमवार का महत्त्व:- SAWAN SOMWAR KA MAHATVA
श्रावण मास मनुष्यों में ही नही अपितु पशु पक्षियों में भी एक नव चेतना का संचार करता है जब प्रकृति अपने पुरे यौवन पर होती है और रिमझिम फुहारे साधारण व्यक्ति को भी कवि हृदय बना देती है।
Read Moreकैसे शुरु हुई होली मनाने की परम्परा और क्या है इसके पूजन की विधि ?
आपको और आपके परिवार को होली के पावन पर्व पर मेरे और मेरे परिवार की तरफ से हार्दिक शुभकामनाये! होली के रंगो की तरह आपकी जिंदगी भी खुशियों के रंगो से भरी हो मेरी यही मनोकामना है, आप सभी का जीवन मंगलमय् हों।
Read Moreशारदीय नवरात्रि का व्रत कर रहे हैं, तो यह 13 काम त्याग दें।
शारदीय नवरात्रि ७ अक्टूबर २०२१ से है। इन दिनों अधिकतर लोग व्रत और उपवास करते हैं, लेकिन, क्या आप जानते हैं,
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